तुमने कभी इंसान की हड्डी को देखा है    
कही भी जा दिखेगी हड्डी होती सिर्फ सफ़ेद है     
क्या बोलती है वो     
मैं हिंदू हूँ, मै मुस्लिम हूँ या कि ईसाई और सिख?
   
कभी पानी ना मिलेगा तो जानोगे प्यास होती है क्या?     
पानी मांगेगा हिंदू , मांगेगा मुसलमान, मांगेगा ईसाई और सिख|     
जख्म होगा देह में तो बहेगा खून सबका    
खून का रंग होता है लाल     
हिंदू में, मुसलमां में, ईसाई में और सिख में |     
जाना है तुमने क्या, भाई भाई का खून कभी कभी    
आपस में मिलता नहीं, रक्तदान के लिए आता है जो     
वो अनजान भाई होता है कोई हिंदू, कोई मुसलमान, कोई ईसाई या सिख |     
कभी जाना है तुमने धर्म होता है क्या पूजा होती है क्या    
सत्मार्ग दिखाये धर्म     
और भावनाये पूजा में होती हैं-     
मानवता के कल्याण की, प्रेम की सौहार्द की     
सत्मार्ग दिखाए चाहे धर्म हो हिंदू या कि मुस्लिम या ईसाई या सिख|     
फिर ये नफरत की दीवारें क्यों, लहू लहू का प्यासा क्यों |     
नूतन गैरोला .. ४ / अगस्त / २०११ १० :५२
अभी लिखी और पोस्ट की है …. बाद में एडिटिंग होगी.. 
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